आस्था की धरोहर है रजरप्पा का मां छिन्नमस्तिके सिद्धपीठ
संवाददाता- कोडरमा किशोर राणा
झारखंड की राजधानी रांची से लगभग 80 किलोमीटर की दूरी पर मां छिन्नमस्तिके का यह मंदिर है! रजरप्पा के भैरवी-भेड़ा और दामोदर नदी के संगम पर स्थित मां छिन्नमस्तिके मंदिर आस्था की धरोहर है! असम के कामाख्या मंदिर के बाद दुनिया के दूसरे सबसे बड़े शक्तिपीठ के रूप में विख्यात मां छिन्नमस्तिके मंदिर काफी लोकप्रिय है! रजरप्पा का यह सिद्धपीठ केवल एक मंदिर के लिए विख्यात नहीं है!छिन्नमस्तिके मंदिर के अलावा यहां महाकाली मंदिर, सूर्य मंदिर ,दस महाविद्या मंदिर, बाबा धाम मंदिर ,बजरंगबली मंदिर, शंकर मंदिर और विराट मंदिर के रूप से कुल 7 मंदिर हैं! पश्चिम दिशा से दामोदर तथा दक्षिण दिशा से कल- कल करती भैरवी नदी का दामोदर में मिलना मंदिर की खूबसूरती में चांद- चांद लगा देता है! इस उपलक्ष में दिन शनिवार को मंगल कामनाओं के लिए हमारे सभी साथियों रजरप्पा स्थित छिन्नमस्तिका मंदिर पहुंचे और पूजा अर्चना की मौके पर सुधीर कुमार राणा, किशोर राणा, दिलीप राणा, विपिन सिंह, राजेश यादव ,पिंटू यादव प्रदीप यादव, प्रमोद सिंह आदि उपस्थित हुए!