नूपुर शर्मा के विरोध में रांची में हुई हिंसा के लिए बनी जांच कमेटी ने रिपोर्ट के लिए मांगा एक महीने का समय
संवाददाता – अंकित नाग
राँची- झारखंड की राजधानी रांची के मेन रोड में बीते 10 जून को हुई हिंसा की जांच के लिए गठित दो सदस्यीय कमेटी ने रिपोर्ट देने के लिए गृह विभाग से एक माह का समय मांगा है। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के निर्देश यह कमेटी बनी थी, जिसमें आईएएस डॉ. अमिताभ कौशल और आईपीएस संजय लाटकर को शामिल किया गया था। कमेटी को सभी पहलुओं की जांच कर एक सप्ताह में रिपोर्ट देने को कहा गया था। बता दें कि इस घटना में दो लोगों की मौत हुई थी। भीड़ को नियंत्रित करने के लिये पुलिस ने फायरिंग की थी। मौत कैसे हुई। कौन दोषी है। इन तमाम बिंदुओं पर जांच हो रही है। जानकारी के अनुसार कमेटी ने गृह विभाग के प्रधान सचिव राजीव अरुण एक्का को पत्र लिख एक माह का समय मांगा है। कमेटी ने कहा कि मौके पर मौजूद और अधिक लोगों, चश्मदीद से पूछताछ जरूरी है। अब तक कुछ लोगों से ही पूछताछ हो सकी है। दूसरी ओर डिजिटल कंटेंट की जांच, विभिन्न सीसीटीवी के माध्यम से प्राप्त वीडियो की जांच में वक्त लग रहा है। यही कारण है कि कमेटी एक हफ्ते में रिपोर्ट नहीं सौंप पाई है। आचार संहिता के कारण भी जांच धीमी रही।
रांची के छह थाना क्षेत्रों से हटायी गई निषेधाज्ञा
रांची में 10 जून को हुई हिंसा के बाद से छह थाना क्षेत्रों कोतवाली, डेली मार्केट, लोअर बाजार, हिन्दपीढ़ी, चुटिया और डोरंडा में लागू निषेधाज्ञा सोमवार को हटा ली गई। सदर एसडीओ ने सोमवार शाम साढ़े छह बजे तत्काल प्रभाव से निषेधाज्ञा हटाने का आदेश जारी किया।